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टैक्स क्या है? सरकार का आय या नागरिकों का जिमेदारी? in 2022

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टैक्स क्या होता है? मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है और इस समाज को सुचारु रूप से चलाने हेतु शासन, और व्यवस्था की आवश्कता होता है। व्यवस्था को सुचारू ढंग से चलाने हेतु धन राशि की जरूरत होती है। अतः शासक द्वारा विभिन्न प्रकार के टैक्स , विभिन्न माध्यमों द्वारा विभिन्न उद्देश्य हेतु देशवासियों के ऊपर लगाया जाता है। जिससे शासन को धन एकत्रित हो जिससे जनता के लिए विभिन्न हितकारी योजनाऐं और प्रोजेक्ट का निर्माण हो सके। क्यों सरकार टैक्स लगाती है? सरकार टैक्स जनता पर इसलिए लगाती है जिससे खजाने के लिए धन एकत्रित किया जा सके पुनः उस धन का उपयोग। देशवासियों के सुरक्षा और अन्य व्यवस्था में उपयोग किया जा सके। tax कितने प्रकार के होता है टैक्स? टैक्स को प्रमुख रूप से दो भागों में विभाजित कर सकते है १ प्रत्यक्ष कर २ अप्रत्यक्ष कर प्रत्यक्ष कर प्रत्यक्ष कर वह टैक्स होता है जो हम सरकार को डायरेक्ट देते है। अर्थात हमारी संपत्ति के अनुसार सरकार हमारे ऊपर कर लगाती है जिसे हमें सरकार को डायरेक्ट देते है। प्रत्यक्ष कर के भी विभिन्न प्रकार  होते है जैसे  1 इनकम  टैक्स 2 TDS 3 टोल टैक्स  अप्रत्यक्ष कर अप्रत्यक्ष

ईएसबीआई क्या है? sampurn janakari jante hai !2022

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  ईएसबीआई क्या है? ईसबीआई अर्थात, ई मतलब एम्प्लॉय (नौकरी करने वाला,एस मतलब सेल्फ एम्प्लॉय (खुद का रोजगार), बी मतलब बिजनेस ऑनर(व्यापार के मालिक), आई मतलब इन्वेस्टर निवेशक)। ESBI एक ऐसा मौलिक सिस्टम है जिसमें हम सीखते है की गुणवत्ता पूर्ण कार्य कर के हम अत्यधिक वित्त अर्जित किया जा सकता है। कहने का तात्पर्य यह है कि कठिन कर्म से अच्छा है गुणवत्ता पूर्ण कार्य करना। मतलब हार्ड वर्क से अच्छा है स्मार्ट वर्क। राबर्ट कियोसकी के अनुसार दुनिया में चार तरह के कार्य पद्धति है। इसमें यह बताया गया है कि आप किस प्रकार के कार्य करके कम समय में अत्यधिक धन एकत्रित कर सकते है। ये चार नकदी प्रवाह चतुर्थांश इस प्रकार हैं: Employee (नौकरी करने वाले) Self employed (स्व रोजगार ) Business Owner ( बड़े व्यापार के मालिक) Investor (निवेशक) आप इसे निचे image में देखकर समझ सकते हैं:    ये चार नकदी प्रवाह चतुर्थांश का कार्य पद्धति     रॉबर्ट कियोसाकी के अनुसार इन चार वर्ग के लोगों के काम करने का तरीका अलग-अलग है और इन्ही तरीकों की वजह से बिजनेस के मालिक और निवेशक लगातार अमीर और बाकि लोग गरीब होते जाते हैं।    नौकरी

Post office monthly इनकम स्कीम क्या है?जानते हैं 2022 मे !

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Post office की मंथली इनकम स्कीम क्या है? पोस्ट ऑफिस की जामा राशि के योजना के तहत कई तरह की योजनाएं चलाई जाती है। इन योजना में छोटी छोटी राशि जामा करने के ग्राहक एक अच्छी खासी धन राशि एकत्रित कर सकते है और अच्छा ब्याज दर प्राप्त कर सकते है। इन योजना में जो प्रक्रिया अपनाई जाती है वह बेहद आसान है। इनमे रिस्क रहित एक अच्छा ब्याज दर प्राप्त होता है। पोस्ट ऑफिस की जामा राशि योजना बेहद सुरक्षित मानी जाती है साथ ही ग्राहकों के मन मे विश्वास भी पहले से बना हुआ है। पोस्ट ऑफिस मंथली इनकम प्लान में १००० हजार रूपए प्रति व्यक्ति खाता खोल सकता है। इस स्कीम में १८वर्ष के कोई भी व्यक्ति खाता खोल सकता है। इसमें एक व्यक्ति एक साथ तीन खाता, तीन खाता धारक के साथ खुलवा सकता है। अगर आप हर महीने ब्याज नहीं निकालते है तो यह ब्याज आपके खाते में जुड़ जाता है परंतु इस प्लान में चक्रवर्ती ब्याज प्राप्त नहीं होता है। Post office की मंथली इनकम स्कीम क्या है? इस प्लान की अवधि पांच वर्ष का होता है अतः अधिकतम लाभ प्राप्त हेतु पांच वर्ष से पहले धन राशि को नहीं निकलें। कितनी राशि mis प्लान मे जामा होता है? MIS प्लान म

रेपो रेट और रिवर्स रेपो रेट क्या है? aeeye jante hai #1

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आरबीआई क्या है  सभी तरह के फाइनेंशियल सर्विसेज देने वाली संस्थान को निर्देशित और विधी संगत चलाने के लिए सरकार ने एक रेगुलेटरी संस्थान की व्यवस्था किया हुवा है। जन्हा से उस विषय के नियम और कानून पारित होते हैं। जैसे लाइफ इंश्योरेंस हेतु रेगुलेटर संस्था है irdia, पेंशन फंड मैनेजर हेतु रेगुलेटर संस्था है pfrda, शेयर बाजार के रेगुलेट करने वाली संस्थान है सेबी। उसी तरह बैंक को रेगूलेट करने हेतु संस्था है RBI अर्थात रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया।          रेपो रेट और रिवर्स रेपो रेट क्या है?   आरबीआई ने पहली बार वित्त वर्ष 2011-12 में वार्षिक मॉनेटरी पॉलिसी बैठक में एमएसएफ का वर्णन किया था और यह निर्णय 9 मई 2011 को लागू हुआ. आपने रेपो रेट, रिवर्स रेपो रेट और सीआरआर जैसे शब्द जरूर सुने होंगे. पर क्या आप इन शब्दों के मतलब जानते हैं. आज हम आपको रेपो रेट और रिवर्स रेपो रेट का अर्थ और बताते हैं. रिज़र्व बैंक ऑफ इंडिया की आर्थिक समीक्षा नीतियों से जुड़े इन टेकनिकल वर्ड्स के बारे में बताते है।   रेपो रेट क्या होता है?   बैंक अपने व्यापार चलाने हेतु आरबीआई से धन उधार लेते है और जमा भी करते हैं रेपो रेट वह

Nps पेंशन फण्ड मैनेजर चेंज कैसे करें क्या है फायदे ohoo 1

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नेशनल पेंशन सिस्टम क्या है पेंशन का तत्प्रय होता है कार्य सेवा के समाप्ति के पश्चात इन्कम का स्रोत।पेंशन नियोक्ता के द्वरा की जाने वाली भुकतान जो कर्मचारी को दी जाती है । किसी भी कार्य को निष्पादित करने हेतु एक योजना और योजन को सुचारू रूप क्रियान्वयन करने हेतु एक प्रणाली की आवश्यकता होती है। भारतीय सरकार के द्वारा निष्पादित एक पेन्शन योजना जो   वर्ष 2004 से क्रियान्वित है का नामांकरण है nps अर्थात नेशनल पेन्शन प्रणाली । वर्तमान में भारतीय सरकार द्वारा क्रियान्वित बहुत सी पेन्सन योजना है जो सरकारी कर्मचारियों के साथ साथ सामान्य भारतीय के लिए भी लाभकारी है । नेशनल पेन्शन सिस्टम के स्तंभ नेशनल पेन्शन प्रणाली को सुचारू रूप से क्रियान्वित करने हेतु तीन प्रणालियां सेवा रात है। अर्थात नेशनल पेंशन योजना के तीन चरण है। 1 फंड का संग्रह  2 पेंशन फण्ड मैनेजर 3 पेंशन प्रदाता 1 फण्ड का संग्रह   नेशनल पेन्शन प्रणाली में फंड संग्रह हेतु भारत सरकार के द्वारा मान्यता प्राप्त दो प्राधिकरण क्रयरत है जिसे हम cra अर्थात center record keeping agency ( केंद्रीय अभिलेख संग्रह उपक्रम) कहते है। जिसका क्रय nps मे

छोटी कमाई बड़ा परिवार financial planing kaise 21

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सीमित कमाई में बड़ी जिमेदरी का निर्वाहन कैसे फाइनेंशियल प्लानिंग एक कला और विज्ञान दोनों है। आप चाहे जितना भी कमाई करते हों आपके पास वित्य स्रोत चाहें कितना भी क्यों न हो परन्तु कभी न कभी आपको वित्य कमी का एहसास जरूर होता है । कभी ना कभी उधार लेने की आवश्यकता जरूर महशुश होती है। प्रकृति का नियम है की आवश्यकताएं कभी ख़त्म नहीं होती आवश्यकताओं के प्रारूप बदल जाती है समस्याएं हमेशा बनी रहती है। इसका मूल कारण है की फाइनेंसियल प्लानिंग कैसे करें का ज्ञान ना होना। फाइनेंशियल प्लानिंग कैसे करें वित्य स्रोत सीमित हमेशा रहेंगे क्योंकि सिस्टम में स्रोत सीमित है प्रकृति ने स्रोत सीमित रखें है परन्तु  आवश्यकताओं की संख्या निरंतर बढ़ती रहती है इसका कारण है स्रोत प्रकृति के सिस्टम की विषय वस्तु है और आवश्यकता मन का विषय है अतः मन का मैनेजमेंट के द्वारा फाइनेंशियल मैनेजमेंट किया जा सकता है यह एक कला है। फाइनेंशियल प्लानिंग फाइनेंशियल प्लानिंग के तत्व का ध्यान देना आवश्यक है जो एक विज्ञान है जिसमे विश्लेषण, प्रयोग और इंप्लीमेंट करना होता है आई उन तत्वों का विश्लेषण प्रयोग और इंप्लीमेंट करते है 1 आय के